
इस्लामाबाद। पिछले साल के कथित चुनावी कदाचार की स्वतंत्र जांच के लिए पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से 30 दिन के लिए अपने पद से हटने की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआइ) के प्रदर्शनकारियों की मांग सरकार की ओर से ठुकरा दिए जाने के कुछ ही घंटों बाद विपक्षी नेता इमरान खान ने रविवार को फिर मांग दोहराई। पीटीआइ प्रमुख खान ने पाकिस्तानी संसद की घेरेबंदी कर रहे अपने समर्थकों से कहा कि हम प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के इस्तीफे से कम कुछ स्वीकार नहीं करेंगे। इस बीच 30 दिन के लिए प्रधानमंत्री पद से शरीफ के हटने की मांग सरकार की ओर से ठुकराए जाने के बाद राजनीतिक गतिरोध 11वें दिन में प्रवेश कर गया जबकि इसके हल की दिशा प्रगति के कोई आसार नहीं दिख रहे हैं। शनिवार रात सरकार और पीटीआइ के वार्ताकारों के बीच वार्ता का तीसरा दौर हुआ लेकिन यह वार्ता गतिरोध भंग करने में नाकाम रही। पीटीआइ ने प्रस्ताव दिया था शरीफ 30 दिन के लिए अपने पद से इस्तीफा दे दें और इस दौरान कोई न्यायिक आयोग यह निर्धारित करने के लिए स्वतंत्र रूप से काम करे कि क्या मई 2013 के चुनाव पारदर्शी थे। लेकिन सरकार ने यह मांग खारिज कर दी। सरकार का कहना है कि उसने पीटीआइ की लगभग सभी दूसरी मांगें मान ली हैं। इस बीच पीटीआइ ने घोषणा की कि वह इस शाम से दूसरे शहरों में स्क्रीन और मिनी पोस्टरों के साथ अपना धरना आयोजित करेगी। बैठक के बाद खान के मुख्य वार्ताकार शाह महमूद कुरैशी ने पत्रकारों को कहा कि निर्दोष साबित होने पर शरीफ सत्ता में लौट सकते हैं। उधर सरकार के प्रतिनिधि अहसन इकबाल ने कहा कि प्रधानमंत्री के इस्तीफे की मांग स्वीकार्य नहीं है। पाकिस्तानी मीडिया की रिपोर्टों के अनुसार सरकार ने सुरक्षा कारण बताते हुए कौमी असेंबली और उसके इर्दगिर्द रेड जोन में
मोबाइल फोन सेवा निलंबित कर दी है। ऐसी भी खबरें हैं कि प्रदर्शन स्थल को जोड़ने वाली सभी सड़कों को अवरुद्ध करने की ताजा कोशिश हो रही है।इस बीच खान ने विद्रोही रुख बरकरार रखते हुए कहा कि शरीफ को सत्ता से हटने के लिए मजबूर किए बिना राजधानी से जाने का कोई सवाल नहीं उठता। एक्सप्रेस ट्रिब्यून की एक रिपोर्ट के अनुसार पीटीआइ प्रमुख ने कहा कि अगर 30 दिन के बाद यह साबित हो गया कि तमाम चीजें ठीक हैं तो आप प्रधानमंत्री के रूप में वापस आ सकते हैं। लेकिन आप इस पेशकश को कबूल करने के ख्वाहिशमंद नहीं हैं। ऐसा इसलिए कि आपको खौफ है कि आप की गलतियां पकड़ी जाएंगी। खान ने क्रिकेट के मुहावरों का इस्तेमाल करते हुए वादा किया कि वह आखिरी गेंद तक डटेंगे। पंजाब के मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री के भाई शहबाज शरीफ ने इन रिपोर्टों का खंडन किया कि सरकार राजनीतिक संकट हल के एक विकल्प के तौर पर उनके इस्तीफे पर विचार कर रही है। डॉन न्यूज के अनुसार पंजाब के कानून मंत्री राना मशहूद ने साफतौर पर इन रिपोर्टों का खंडन किया कि शहबाज का इस्तीफा विचाराधीन है। उनकी यह टिप्पणी शनिवार को प्रधानमंत्री निवास पर पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी और शरीफ की मुलाकात के बाद आई। दोनों ने जम्हूरियत की हिफाजत का प्रण किया। पत्रकारों से बातें करते हुए वित्तमंत्री इसहाक डार ने कहा कि जरदारी ने संविधान और कानून के दायरे में संकट के हल के लिए पूरी हिमायत का वादा किया। 342 सदस्यों की कौमी असेंबली में शरीफ की पीएमएल (एन) के 190 सदस्य हैं और उसे स्पष्ट बहुमत हासिल है। (भाषा)
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