Tuesday, 06 August 2013 15:59 |
कोलकाता। दो शताब्दी पुराने प्रेसीडेंसी विश्वविद्यालय में प्रेम की पींगें बढ़ाने वाले युगल तो बहुत आए होंगे, लेकिन यह पहला मौका है जब प्रेम को विश्वविद्यालय के स्नातक पाठयक्रम में एक विषय के रूप में पढ़ाया जाएगा।
अपनी तरह की इस अनूठी पहल के तौर पर प्रेम के पाठ्यक्रम को समाज विज्ञान विभाग के तहत पढ़ाया जाएगा और यह सभी पाठयक्रमों के छात्रों के लिए 50 अंक के वैकल्पिक पेपर के तौर पर उपलब्ध होगा। मजेदार बात यह है कि इसमें बॉलीवुड फिल्मों में प्रेम के प्रदर्शन के अंदाज पर भी एक खास अध्याय होगा। ऐसे में राजकपूर, गुरूदत्त से लेकर यश चोपड़ा तक की प्रेम आधारित फिल्मों को इस पाठयक्रम में जगह मिल सकती है। विश्वविद्यालय की कुलपति मालबिका सरकार ने पीटीआई को बताया कि पाठ्यक्रम को इस तरह
से तैयार किया गया है कि इसमें प्रेम के सभी पहलुओं और खास तौर से इसके सामाजिक प्रभावों को समाहित किया जाए। उन्होंने बताया कि प्रेम के विषय का पाठ्यक्रम और संबद्ध सामग्री तैयार करना अपने आप में एक मुश्किल काम था क्योंकि दुनिया में और कहीं इस तरह का कोई पाठयक्रम नहीं है। समाजविज्ञान के एक प्रोफेसर ने अपना नाम नहीं बताने की शर्त पर कहा, ‘‘हमारे पास इस विषय पर कोई पूर्व सामग्री उपलब्ध नहीं थी।’’ राजा राममोहन राय द्वारा 1817 में हिंदू कालेज के रूप में स्थापित इस विश्वविद्यालय को 2010 में प्रेसीडेंसी कालेज नाम दिया गया और इसे विश्वविद्यालय का दर्जा दिया गया। (भाषा)
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