Wednesday, 03 April 2013 17:43 |
कोलकाता। पश्चिम बंगाल मानवाधिकार आयोग ने एसएफआई के एक नेता की मौत पर गंभीर रुख अपनाया है और आज मामले की जांच शुरू करने के बाद कोलकाता पुलिस को भी मामले की अलग से जांच कर एक हफ्ते के भीतर रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया है।
डब्ल्यूबीएचआरसी प्रमुख न्यायमूर्ति :सेवानिवृत्त: अशोक गांगुली ने आज कहा, ‘‘हमने छात्र की मौत पर स्वत: संज्ञान लिया है और कोलकाता पुलिस आयुक्त से एक हफ्ते के भीतर रिपोर्ट मांगी है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम अपने अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक और आयोग के कुलसचिव को भी आयोग की एक जांच के लिये भेज रहे हैं।’’ उन्होंने कहा कि रिपोर्ट मिलने के बाद ही कार्रवाई की जायेगी। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी :माकपा: की छात्र इकाई के 22 वर्षीय नेता एवं रवींद्र भारती विश्वविद्यालय में एमए के छात्र सुदीप्तो गुप्ता की कल
हुयी मौत के बाद पुलिस ने दावा किया कि उनकी मौत एक गाड़ी से गिरने के कारण हुई जबकि पार्टी ने आरोप लगाया कि उनकी मौत पुलिस लाठीचार्ज में घायल होने की वजह से हुई। पुलिस ने बताया था कि सुदीप्तो की मौत शहर के एक अस्पताल में हुयी। उनके अनुसार वह उस वक्त घायल हुये जब उन्हें 30 अन्य लोगों के साथ गिरफ्तार कर एक बस में ले जाया जा रहा था। यह घटना उस वक्त हुयी जब एसएफआई समर्थक राज्य में कॉलेज संघों का चुनाव कराने की मांग पर एक विरोध रैली निकाल रहे थे। माकपा और कांग्रेस ने इस घटना की कड़ी निंदा की है।
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